रिपोर्ट- विकास मिश्रा 

सवायजपुर। शुक्रवार को क्षेत्र की रामगंगा,गंगा व गम्भीरी तथा गर्रा नदियों का जलस्तर बढ़ने से सैकड़ों बीघा फसले जलमग्न हो गईं।तथा अरवल इलाके के कई सम्पर्क मार्गो पर एक से दो फिट तक पानी बहने लगा है।नदियों में आई बाढ़ की जानकारी मिलते ही तहसील प्रशासन पूरी तरह एलर्ट हो गया है।एसडीएम ने राजस्व टीम के साथ सम्भावित बाढ़ क्षेत्र का दौरा करते हुए नदियों के किनारे बसे 30 ग्राम पंचायतों के 105 मजरों को रेड जोन घोषित करते हुए राजस्व कर्मियों की तैनाती कर उन्हें वहां मौजूद रहकर पल पल की अपडेट उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। 

बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों का निरीक्षण करती हुई एसडीएम डॉ अरुणिमा श्रीवास्तव, जलभराव की स्थति

जानकारी के अनुसार सवायजपुर तहसील क्षेत्र की रामगंगा ,गंगा  व गर्रा नदियों के बीते तीन दिनों से लगातार जलस्तर बढ़ रहा है।बुधवार को नदियों के जलस्तर बढ़ने से क्षेत्र में बाढ़ की संभावना बढ़ गयी है।रामगंगा नदी के पानी ने नदी से बाहर निकलकर सैकड़ो बीघा खेत मे खड़ी फसलों को अपने आगोश में ले लिया है।अरवल इलाके की फसलें जलमग्न हो चुकी है जबकि चौंसार से अरवल थाने के लिए जाने बाले मार्ग पर दो फिट पानी बह रहा है।कई प्राथमिक स्कूलों को जाने बाले सम्पर्क मार्गो पर भी पानी बहने लगा है।बाढ़ की बढ़ती सम्भावना के मद्देनजर तहसील प्रशासन पूरी तरह एलर्ट हो गया है।एसडीएम डॉक्टर अरुणिमा श्रीवास्तव ने तहसील क्षेत्र की 30 ग्राम पंचायतों के लगभग 105 मजरों को रेड जोन घोषित करते हुये प्रत्येक गांव में राजस्व कर्मी तैनात कर बाढ़ की पल पल जानकारी देने के निर्देश दिए हैं।

बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों का निरीक्षण करती हुई एसडीएम डॉ अरुणिमा श्रीवास्तव

  • एसडीएम ने किया सम्भावित बाढ़ क्षेत्र का दौरा

सवायजपुर तहसील क्षेत्र की रामगंगा,गंगा,गम्भीरी व गर्रा नदियों के लगातार जलस्तर बढ़ने से बाढ़ की सम्भावना बढ़ती जा रही है।नदियों के जलस्तर में लगातार बृद्धि के चलते नदियों के किनारे बसे गांवों में आबादी प्रभावित होने की पूर्ण सम्भावना को देखते हुए बुधवार को एसडीएम ने राजस्व टीम के साथ क्षेत्र का दौरा किया तथा रेड व यलो जोन में आने बाले गांवों में लेखपाल,अमीन व चकबन्दी लेखपाल तथा राजस्व निरीक्षकों की ग्राम वार ड्यूटी लगाते हुए निर्देशित किया गया है कि वह सभी कर्मचारी तत्काल प्रभाव से अपने अपने तैनाती गांवों में पहुंचकर ग्राम प्रधान व कोटेदारों के साथ साथ अन्य ग्रामवासियों  से सम्पर्क स्थापित करते हुए वस्तु स्थिति से पल पल अवगत कराते रहें। 

एसडीएम डॉक्टर अरुणिमा श्रीवास्तव ने बताया कि जलस्तर और बढ़ने की संभावना है इसलिए बाढ़ राहत चौकियों पर उपस्थित रहकर गांवों में भृमण कर सभी तैनात कर्मचारी जानकारी देते रहे।तहसील क्षेत्र की 30 ग्राम पंचायतों के 105 मजरों को रेड जोन में रखा गया है। यह सभी मजरे नदियों के किनारे बसे हुए है।

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